
शिव मंदिर से एनसीएल मुख्यालय तक निकाली बाइक यात्रा
सिंगरौली की आवाज
बीते 10 वर्ष से एनसीएल जयंत खदान के विस्तार के लिये मेढ़ौली में विस्थापन की प्रक्रिया चल रही है पिछले महीने सिंगरौली विधायक रामलल्लू वेैश्य को भी विस्थापन की समस्याओ को लेकर प्रभावितों के साथ धरने पर बैठना पड़ा इसके बावजूद मेढ़ौली में एनसीएल प्रबंधन के खिलाफ लोगों का आक्रोश कम नहीं हो रहा है विस्थापितों का कहना है कि एनसीएल प्रबंधन को खुद पता नहीं है कि उसे विस्थापन कैसे करना है, स्थिति ये है कि प्रबंधन और प्रभावितों का दिन प्रतिदिन तकरार बढ़ता जा रहा है, विस्थापन किये जा रहे लोगों ने कहा है कि भूमि अधिग्रहण और विस्थापन में जो प्रक्रिया है कंंपनी उसका पालन करे जबकि कंपनी अपने ही हित में लोगों का विस्थापन करना चाह रही है..लोगों का कहना है कि कंपनी लाभ से किसी को वंचित नहीं कर सकती है क्योंकि उन्हें उजाड़ा जा रहा है रैली में शामिल लोगों का कहना है कि कंपनी ने दुद्धीचुआं और जयंत में मुआवजा बांटने में भेदभाव किया है ,एक कानून एक वार्ड और एक जैसी जमीन के मुआवजे में भी अंतर हैे ,सीबी एक्ट में जो जमीन अघिग्रहण किया जा रहा है उसमें विस्थापन नहीं करा सकते हैं लोगों का कहना है कि कंपनी ऐसी जमीन दे जिसे वो बेच सके , लोगों ने एकजूट होकर कहा है कि कंपनी प्रबंधन की मनमानी की जांच होनी चाहिए और उनकी समस्याओं का जल्द से जल्द समाधान होना चाहिए।
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